सीएमए ने भारत सरकार के ‘स्वच्छता ही सेवा’ में सहयोग किया

नई दिल्ली। श्री परमेश्वरन अईयर, सेक्रेटरी, डिपार्टमेंट ऑफ ड्रिंकिंग वॉटर एवं सैनिटेशन, जल शक्ति मंत्रालय एवं श्री सी के मिश्रा, सेक्रेटरी, वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, भारत सरकार ने सीमेंट उद्योग में वैकल्पिक ईंधन एवं कच्चे माल पर चौथी कॉन्फ्रेंस – सीमेंट मैनुफैक्चरर्स एसोसिएशन (सीएमए) कंज़र्व 2019 का उद्घाटन किया। इस अवसर पर सीएमए एवं इसकी सदस्य कंपनियों ने कचरे एवं प्लास्टिक के निपटान तथा भारत सरकार के स्वच्छता ही सेवा के साथ सहयोग करने की अपनी प्रतिबद्धता मजबूत की।

उद्घाटन सत्र में श्री परमेश्वरन अईयर ने कहा, ‘‘सीएमए स्वच्छता ही सेवा की जागरुकता बढ़ाने और प्लास्टिक एवं इसे एजेंडा में सबसे ऊपर रखने में रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। कचरे व प्लास्टिक के समुचित निपटान के हमारे उद्देश्य की पूर्ति में सीमेंट उद्योग एक महत्वपूर्ण पार्टनर है। मैं सीएमए एवं इसकी सदस्य कंपनियों के सहयोग का आभारी हूँ।’’

यूएन क्लाईमेट एक्शन समिट में भारत की प्रतिभागिता के बारे में, श्री सी के मिश्रा ने कहा, ‘‘भारतीय सीमेंट उद्योग ने यूएन क्लाईमेट एक्शन समिट में एक महत्वपूर्ण स्थान हासिल कर लिया है। जलवायु परिवर्तन एक वास्तविक खतरा है और हमें भविष्य की पीढ़ियों की सुरक्षा के लिए इस दिशा में वास्तविक कार्य करने की जरूरत है। टेक्नोलॉजी एवं संसाधन इस परिवर्तन के दो महत्वपूर्ण अंग हैं। इसी समय भारतीय उद्योग में अपने बूते नई टेक्नोलॉजी का निर्माण करने एवं इसका समाधान निकालने की सामथ्र्य है।’’

इस अवसर पर श्री महेंद्र सिंघी, प्रेसिडेंट, सीएमए एवं एमडी व सीईओ, डालमिया सीमेंट (भारत) लिमिटेड ने कहा, ‘‘सीमेंट उद्योग ने प्रदर्शित किया है कि क्लीन एवं ग्रीन फायदेमंद, सतत व जिम्मेदार है। हम 5 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर की अर्थव्यवस्था के लिए तैयार हो रहे हैं और सरकार को उसके मिशन में पूरा सहयोग दे रहे हैं। कम कार्बन की अर्थव्यवस्था में परिवर्तन में सीमेंट सेक्टर ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है और हम शेष क्लीन एवं ग्रीन की दृष्टि से प्रभावशाली बने रहने के लिए प्रतिबद्ध हैं। हमारे पास इस सेक्टर को सर्वाधिक प्रभावशाली बनाए रखने के लिए सर्वश्रेष्ठ टेक्नोलॉजी हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘भारतीय सीमेंट उद्योग कच्चे माल एवं ईंधन के रिप्लेसमेंट के रूप में लगभग 75 मिलियन टन वेस्ट पदार्थों का उपयोग कर सकता है। लेकिन इसके लिए इतना ज्यादा वेस्ट मटेरियल हर साल निर्मित होता है, जिससे न केवल पर्यावरण को बल्कि समाज को भी स्वास्थ्य के अनेक खतरे हो सकते हैं।’’

सीएमए के पूर्व प्रेसिडेंट एवं होल टाईम डायरेक्टर, जेके लक्ष्मी सीमेंट लिमिटेड, डॉ. शैलेंद्र चौकसे ने बताया कि माननीय प्रधानमंत्री ने स्वच्छता ही सेवा को एक विशाल जन आंदोलन बना दिया है। हमें इस विशाल प्रयास में भारत सरकार के साथ गठबंधन करने की खुशी है।

मिस अपर्णा दत्त शर्मा, सेक्रेटरी जनरल, सीएमए ने सीएमए सदस्य कंपनियों द्वारा स्वच्छता ही सेवा जागरुकता अभियानों के द्वारा संस्थागत स्तर पर सीमेंट उद्योग द्वारा उठाए गए अनेक प्रयासों के बारे में बताया। उन्होंने बताया, ‘‘हमें विश्वास है कि भारत सरकार के मंत्रालयों में सीएमए की स्वच्छता ही सेवा पार्टनरशिप भारत में कचरा प्रबंधन के लिए सामंजस्यपूर्ण सहयोग का विकास करने में मदद करेगी।’’

इस अवसर पर सीमेंट उद्योग में एएफआर के उपयोग पर एक विशेष सीएमए पब्लिकेशन ‘अल्टरनेट फ्यूल्स एवं रॉ मटेरियल्स इन सीमेंट इंडस्ट्री’ जारी किया गया। स्वच्छता ही सेवा मिशन के तहत, सीएमए ने नई दिल्ली के स्कूलों में सिंगल यूज़ प्लास्टिक (एसयूपी) का उपयोग करने के खिलाफ जागरुकता का निर्माण करने के लिए एक विशेष अभियान लांच किया, जो अब पूरे भारत में विस्तारित किया जाएगा। उद्घाटन सत्र में सेंट थॉमस स्कूल के बच्चों ने प्लास्टिक के उपयोग को बंद करने के लिए एक जोशीली एवं उत्साह से भरपूर प्रस्तुति दी।

 

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